भोपाल। राजधानी भोपाल में शनिवार सुबह लिंक रोड नंबर एक पर बड़ा हादसा होने से बाल-बाल बच गया। पीसीसी कार्यालय के पास अचानक चलती सिटी बस के पिछले हिस्से में धुआँ उठने लगा, जिससे बस में सवार यात्री घबराकर चीखने लगे। स्थिति को गंभीर होता देख बस चालक और कंडक्टर ने अद्भुत सूझबूझ का परिचय दिया। उन्होंने बिना किसी देरी के बस को सड़क किनारे सुरक्षित स्थान पर रोका और सभी यात्रियों को बाहर निकालकर उनकी जान बचाई। इस समझदारी भरे कदम ने एक संभावित बड़ी दुर्घटना को टाल दिया।
अचानक उठे धुएं से मचा हड़कंप
घटना सुबह करीब 10 बजे की है। भोपाल सिटी लिंक लिमिटेड (BCLL) की लाल बस, टीआर-4 बोर्ड ऑफिस चौराहा से न्यू मार्केट की ओर जा रही थी। बस में उस समय लगभग 10 यात्री सवार थे। जैसे ही बस लिंक रोड नंबर एक के मोड़ पर पहुँची, उसके पिछले हिस्से से अचानक घना धुआँ निकलने लगा। यात्रियों ने जैसे ही यह दृश्य देखा, उनमें अफरा-तफरी मच गई। कई यात्री खड़े होकर चिल्लाने लगे और कुछ सीटों से उछलकर बाहर निकलने की कोशिश करने लगे। बस के अंदर फैली चीख-पुकार सुन चालक ने तुरंत बस की स्पीड धीमी की और पीसीसी कार्यालय के पास बस को किनारे लगा दिया। धुआँ लगातार बढ़ता जा रहा था, जिससे कुछ ही क्षणों में स्थिति और गंभीर हो सकती थी।
ड्राइवर और कंडक्टर की तत्परता बनी जीवनरक्षक
बस चालक ने जैसे ही बस को रोका, वह तुरंत नीचे उतरा और कंडक्टर के साथ मिलकर यात्रियों को बाहर निकालना शुरू कर दिया। दोनों ने बिना किसी घबराहट के तुरंत कार्रवाई की, जिसके चलते सभी 10 यात्री सुरक्षित बाहर आ गए।प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, बस चालक ने पहले इंजन को बंद किया, फिर आपातकालीन नियमों के तहत यात्रियों को व्यवस्थित रूप से उतरवाया। वहीं कंडक्टर ने पीछे के हिस्से की स्थिति को देखते हुए तेजी से लोगों को सुरक्षित जोन में ले जाकर खड़ा किया। समय की इस छोटी-सी दौड़ में दोनों कर्मचारियों की तत्परता ने हादसे को बहुत बड़ा होने से बचा लिया।
सूचना मिलते ही हरकत में आए अधिकारी
यात्रियों को सकुशल नीचे उतारने के बाद चालक ने तुरंत अपने उच्च अधिकारियों को घटना से अवगत कराया। इसके बाद बीसीएलएल के अधिकारी, नियंत्रण कक्ष और फायर ब्रिगेड को घटनास्थल की जानकारी दी गई। फायर कर्मियों की टीम मौके पर पहुँची और बस के पिछले हिस्से की जांच की। प्रथम दृष्टया माना जा रहा है कि बस के इंजन या वायरिंग सिस्टम में शॉर्ट सर्किट होने से धुआँ उठा, हालांकि सही कारणों की जांच टीम द्वारा रिपोर्ट आने के बाद ही स्पष्ट हो सकेंगे।
बड़ा हादसा टलने पर यात्रियों ने ली राहत की साँस
घटना के दौरान बस में मौजूद यात्री बेहद सहमे हुए थे। धुएँ की तीव्रता और उसकी गति देखकर ऐसा प्रतीत हो रहा था कि बस में किसी भी क्षण आग भड़क सकती है। कई यात्रियों ने चालक और कंडक्टर के काम की सराहना करते हुए कहा कि यदि कुछ सेकंड की भी देरी होती, तो स्थिति अनियंत्रित हो सकती थी।एक यात्री ने बताया, हम अचानक तेज धुआँ देखकर घबरा गए थे। लगा कि बस में आग लग चुकी है। ड्राइवर ने बहुत तेजी से बस को रोका और हमें उतरवाया। उनकी वजह से हम सब सुरक्षित हैं।
बीसीएलएल ने की जाँच शुरू, पुराने वाहनों पर सवाल
घटना के बाद बीसीएलएल प्रशासन ने बस की मैकेनिकल जांच शुरू कर दी है। प्रारंभिक जाँच में यह संकेत मिल रहे हैं कि बस के इंजन सेक्शन में किसी प्रकार की तकनीकी खराबी रही होगी। साथ ही पुरानी सिटी बसों की मेंटेनेंस व्यवस्था पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। शहर में चलने वाली कई बसें काफी समय से सेवामुक्त होने लायक बताई जाती हैं, लेकिन नियमित रूट पर इनका संचालन जारी है।बीसीएलएल अधिकारियों ने आश्वासन दिया कि घटना की गंभीरता को देखते हुए फ्लीट की व्यापक जाँच कराई जाएगी और जिस भी बस में तकनीकी ख़ामी पाए जाने की संभावना होगी, उसे तुरंत सेवा से बाहर किया जाएगा।
ऐसी घटनाओं से सबक
यह घटना न केवल बस प्रबंधन व्यवस्था पर प्रश्नचिह्न लगाती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि आपात स्थितियों में चालक और कंडक्टर की तत्परता कितनी महत्वपूर्ण होती है। समय रहते उठाए गए कदमों से न सिर्फ बस में सवार यात्रियों की जान बची, बल्कि शहर में एक संभावित बड़े हादसे को भी टाला जा सका। लिंक रोड नंबर एक पर हुई यह घटना राजधानी में सार्वजनिक परिवहन की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर चर्चा का विषय बन गई है। तेज धुआँ और संभावित आग जैसी घटना ने यह साफ कर दिया है कि शहर में चल रही बसों की तकनीकी जाँच, समय पर निरीक्षण और नियमित सर्विसिंग बेहद आवश्यक है। हालांकि इस दुर्घटना में कोई जनहानि नहीं हुई, लेकिन यह घटना एक चेतावनी है कि भविष्य में ऐसे हादसे दोबारा न हों, इसके लिए प्रशासन को सतर्क और सक्रिय रहना होगा।
