नई दिल्ली। सनातन परंपरा में मार्गशीर्ष मास के शुक्लपक्ष की पंचमी तिथि को अत्यंत शुभ माना जाता है क्योंकि यह दिन भगवान श्री राम और माता सीता के विवाह से जुड़ा है। मान्यता है कि विवाह पंचमी के पावन पर्व पर विधि-विधान से पूजा करने पर सियाराम की विशेष कृपा प्राप्त होती है और जीवन की बड़ी बाधाएं खासकर विवाह और दांपत्य जीवन से जुड़ी समस्याएं दूर होती हैं। विवाह पंचमी 2025 के अवसर पर सुख सौभाग्य और मनचाहा जीवनसाथी प्राप्त करने के लिए पांच अचूक उपाय बताए जा रहे हैं।
पहला उपाय है पीले वस्त्र अर्पित करना। यदि विवाह में लगातार बाधा आ रही है और मनचाहा जीवनसाथी नहीं मिल पा रहा है तो इस दिन भगवान राम और माता सीता को पीले वस्त्र अर्पित करने चाहिए। माना जाता है कि इस पूजा से शीघ्र ही विवाह के शुभ योग बनने लगते हैं।
दूसरा उपाय है रामचरित मानस के स्वयंवर प्रसंग का पाठ। शीघ्र विवाह की कामना पूरी करने के लिए व्यक्ति को रामचरित मानस के राम सीता के स्वयंवर प्रसंग का विशेष पाठ करना चाहिए। हिंदू मान्यता के अनुसार भगवान राम के गुणों का गान करने वाली रामचरित मानस सभी मनोकामनाओं को पूर्ण करने वाली मानी जाती है।
तीसरा उपाय है दांपत्य जीवन में प्रेम बढ़ाने का। यदि पति-पत्नी के आपसी रिश्ते अच्छे न हों या दांपत्य जीवन में कठिनाइयाँ आ रही हों तो दोनों को विवाह पंचमी वाले दिन किसी मंदिर में जाकर भगवान राम और सीता जी की विशेष पूजा करनी चाहिए। मान्यता है कि इस उपाय से सियाराम की कृपा बरसती है और प्रेम और विश्वास बढ़ता है जिससे दांपत्य सुख की प्राप्ति होती है।
चौथा उपाय है स्नान दान और कन्यादान में सहयोग। विवाह पंचमी के पावन दिन किसी जरूरतमंद दंपत्ति को अन्न वस्त्र आदि का दान करना चाहिए। यदि संभव हो तो किसी कन्या के विवाह में आर्थिक मदद यानी कन्यादान भी करनी चाहिए। सनातन परंपरा में दान का अत्यधिक महत्व बताया गया है।
पांचवां उपाय है अखंड सौभाग्य के लिए सुहाग सामग्री अर्पित करना। विवाहित महिलाओं को विवाह पंचमी के दिन सीता माता को विशेष रूप से सुहाग की सामग्री और सिंदूर चढ़ाना चाहिए। माना जाता है कि इस उपाय से दांपत्य जीवन में सुख शांति बनी रहती है और पति की दीर्घायु का आशीर्वाद मिलता है।
विवाह पंचमी 2025 इस वर्ष मार्गशीर्ष मास के शुक्लपक्ष की पंचमी तिथि को मंगलवार 25 नवंबर 2025 को मनाया जाएगा। पंचमी तिथि 24 नवंबर की रात नौ बजकर बाईस मिनट से प्रारंभ होकर 25 नवंबर की रात दस बजकर छप्पन मिनट तक रहेगी। इस दिन कई शुभ योगों का संयोग बन रहा है जिनमें ध्रुव योग सर्वार्थ सिद्धि योग और शिववास योग शामिल हैं।इस प्रकार विवाह पंचमी 2025 न केवल पवित्र अवसर है बल्कि मनचाहा जीवनसाथी प्राप्त करने सुख सौभाग्य और दांपत्य जीवन में प्रेम बढ़ाने का विशेष अवसर भी है। विधि विधान से किए गए उपायों और पूजा अर्चना से भगवान सियाराम की कृपा प्राप्त होती है और जीवन में सुख समृद्धि का मार्ग प्रशस्त होता है।
