नई दिल्ली । बिहार विधानसभा चुनाव के लिए सत्ताधारी NDA गठबंधन में सीटों के बंटवारे के बाद अब बारी उम्मीदवारों के ऐलान की है। सूत्रों के मुताबिक भाजपा ने गठबंधन के तहत आवंटित सभी 101 सीटों पर उम्मीदवारों के नाम फाइनल कर लिए हैं और उनका ऐलान कभी भी किया जा सकता है।
सूत्रों ने बताया कि भाजपा इस बार बिहार में गुजरात मॉडल नहीं अपनाएगी। इस मॉडल के तहत आमतौर पर 30 फीसदी मौजूदा विधायकों का टिकट काटा जाता है और नए युवाओं को मौका दिया जाता है, लेकिन इस बार पार्टी अधिकांश मौजूदा विधायकों को उतारने की रणनीति पर काम कर रही है। हालांकि, 16 मौजूदा विधायकों के टिकट कट सकते हैं और 75 पार की उम्र वाले विधायकों को भी टिकट मिलने की संभावना है। टिकट कटने वाली सीटों पर महिलाओं और युवाओं को उतारने की योजना है।
भाजपा तीन सूत्री फॉर्मूले के आधार पर उम्मीदवारों का चयन कर रही है। इसके तहत जातीय समीकरण, जिताऊ उम्मीदवार और युवाओं की भागीदारी पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार पार्टी का मानना है कि 2020 में नई लिस्ट के तहत कई नए चेहरे पहले ही चुनाव मैदान में उतारे गए थे। इसलिए पहली बार के विधायकों और सरकार के खिलाफ कोई एंटी इनकंबेंसी नहीं है, जिससे इस बार औसतन 30% विधायकों के टिकट नहीं कटेंगे।
सूत्रों के मुताबिक इस बार कई महिला उम्मीदवारों को चुनाव में उतारने की योजना है। चर्चा है कि कुछ केंद्रीय नेताओं को भी विधानसभा चुनाव में मैदान में उतारा जा सकता है।
भाजपा की केंद्रीय चुनाव समिति की रविवार शाम दिल्ली में हुई बैठक में टिकटों की अंतिम सूची तैयार की गई। बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, महासचिव (संगठन) बीएल संतोष और बिहार के वरिष्ठ नेता मौजूद थे। बिहार भाजपा अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने बताया कि सोमवार शाम से उम्मीदवारों की घोषणा शुरू की जाएगी।
वहीं, बिहार विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण के लिए 122 सीटों पर सोमवार से नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई है। इन सीटों पर मतदान 11 नवंबर को होगा और उम्मीदवार 20 अक्टूबर तक नामांकन पत्र दाखिल कर सकते हैं। नाम वापस लेने की अंतिम तिथि 23 अक्टूबर है। पहले चरण की 121 सीटों पर मतदान 6 नवंबर को होगा। राज्य की सभी 243 विधानसभा सीटों के लिए मतगणना 14 नवंबर को की जाएगी।
